उर्दू बंगला टेट अभियार्थी आन्दोलन की तैयारी में
उर्दू बंगला टेट अभियार्थी आन्दोलन की तैयारी में , मिला कारवाने उर्दू ,आर जे डी समेत कई सामाजिक संगठनों समेत कई संस्थाओं का सहयोग । आन्दोलन की रूप रेखा तय करने की गर्ज से कारवाने उर्दू के संयोजक एवं आर जे डी के सीनियर लीडर गुलाम गौस की अगुवाई में हुई उनके आवास पर 22/1/14 को विशेष बैठक ।जहाँ तय हुआ की 2 फ़रवरी 2014 को महाधरना का आयोजन किया जाए ,सरकार ने बात न मानी तो विधान सभा का घेराव भी किया जाए ।
क्यों हुई आन्दोलन की जरुरत :-
छात्रों का कहना है की " बी एस इ बी " के अधिकारीयों ने कोचिंग माफियाओं और शिक्षा माफियाओं को फायेदा पहुंचाने की गर्ज से जान बुझ कर फेल कराया गया , इसके लिए पहले सवाल जेयादः और समय कम दिया , अभियार्थियों का कहना है कि जब रेलवे भर्ती बोर्ड की परीक्षा होती है तो 100 सवालों के बदले डेढ़ घंटा की समय दी जाती है ,उसी प्रकार " जे पी एस सी " की परीक्षा होती है तो 100 नंबरों के बदले दो घंटे का वक्त दिया जाता है ,तो फिर किसके इशारे पर तीन घंटे का सवाल डेढ़ घंटे का रख्खा गया? किनके कहने पर सवाल आउट ऑफ़ सिलेबस पूछा गया ? किनके इशारे पर गलत सवाल और कंप्यूटर में गलत जवाब फीड किया गया ? छात्रों का कहना है कि जब इतनी बड़ी साजिश और खेल खेले गए तो 15 नंबर का grace हमारा हक है ,सरकार इसे जल्द से जल्द दे और टेट पास की गारंटी देने वाले कोचिंग संस्थानों से बी एस इ बी के अधिकारीयों के सम्पर्क हैं की नहीं इस बात की भी छान बीन करे ,साथ ही इस बात की छान बीन करे की टेट पास की गारंटी देने वाले संचालक विशेष टेट परीक्षा से चार पांच रोज पहले से लेकर टेट परीक्षा ख़त्म होने के दिन तक किन किन के सम्पर्क में थे ,और मकसद क्या था ? मोबाइल के " सी डी आर " की जांच कराये ,इस बात की छान बिन करे की टेट परीक्षा के पूर्व में जो प्रश्न पत्र प्रदेश में कई बार आउट हुए थे उनसे तार इनके जुड़े भी हैं या नहीं ? , मिला कारवाने उर्दू ,आर जे डी समेत कई सामाजिक संगठनों समेत कई संस्थाओं का सहयोग । आन्दोलन की रूप रेखा तय करने की गर्ज से कारवाने उर्दू के संयोजक एवं आर जे डी के सीनियर लीडर गुलाम गौस की अगुवाई में हुई उनके आवास पर 22/1/14 को विशेष बैठक ।जहाँ तय हुआ की 2 फ़रवरी 2014 को महाधरना का आयोजन किया जाए ,सरकार ने बात न मानी तो विधान सभा का घेराव भी किया जाए ।
क्यों हुई आन्दोलन की जरुरत :-
क्यों हुई आन्दोलन की जरुरत :-
छात्रों का कहना है की " बी एस इ बी " के अधिकारीयों ने कोचिंग माफियाओं और शिक्षा माफियाओं को फायेदा पहुंचाने की गर्ज से जान बुझ कर फेल कराया गया , इसके लिए पहले सवाल जेयादः और समय कम दिया , अभियार्थियों का कहना है कि जब रेलवे भर्ती बोर्ड की परीक्षा होती है तो 100 सवालों के बदले डेढ़ घंटा की समय दी जाती है ,उसी प्रकार " जे पी एस सी " की परीक्षा होती है तो 100 नंबरों के बदले दो घंटे का वक्त दिया जाता है ,तो फिर किसके इशारे पर तीन घंटे का सवाल डेढ़ घंटे का रख्खा गया? किनके कहने पर सवाल आउट ऑफ़ सिलेबस पूछा गया ? किनके इशारे पर गलत सवाल और कंप्यूटर में गलत जवाब फीड किया गया ? छात्रों का कहना है कि जब इतनी बड़ी साजिश और खेल खेले गए तो 15 नंबर का grace हमारा हक है ,सरकार इसे जल्द से जल्द दे और टेट पास की गारंटी देने वाले कोचिंग संस्थानों से बी एस इ बी के अधिकारीयों के सम्पर्क हैं की नहीं इस बात की भी छान बीन करे ,साथ ही इस बात की छान बीन करे की टेट पास की गारंटी देने वाले संचालक विशेष टेट परीक्षा से चार पांच रोज पहले से लेकर टेट परीक्षा ख़त्म होने के दिन तक किन किन के सम्पर्क में थे ,और मकसद क्या था ? मोबाइल के " सी डी आर " की जांच कराये ,इस बात की छान बिन करे की टेट परीक्षा के पूर्व में जो प्रश्न पत्र प्रदेश में कई बार आउट हुए थे उनसे तार इनके जुड़े भी हैं या नहीं ? , मिला कारवाने उर्दू ,आर जे डी समेत कई सामाजिक संगठनों समेत कई संस्थाओं का सहयोग । आन्दोलन की रूप रेखा तय करने की गर्ज से कारवाने उर्दू के संयोजक एवं आर जे डी के सीनियर लीडर गुलाम गौस की अगुवाई में हुई उनके आवास पर 22/1/14 को विशेष बैठक ।जहाँ तय हुआ की 2 फ़रवरी 2014 को महाधरना का आयोजन किया जाए ,सरकार ने बात न मानी तो विधान सभा का घेराव भी किया जाए ।
क्यों हुई आन्दोलन की जरुरत :-
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