उन्नाव रेप: बीजेपी विधायक कुलदीप सिंह सेंगर पर रेप का आरोप लगाने वाली पीड़िता ज़ख़्मी, चाची-मौसी की मौत, वकील की हालत गंभीर
उत्तर प्रदेश के रायबरेली में हुए एक 'हादसे' में उन्नाव रेप मामले की पीड़िता गंभीर रूप से घायल हो गई है. इसमें उनकी रिश्तेदार समेत दो लोगों की मौत हो गई है.
हालांकि अब तक मिली जानकारी के मुताबिक इस हादसे के बाद कोई मामला नहीं दर्ज किया गया है. जबकि गंभीर तौर पर घायल पीड़िता और उनके वकील का इलाज किंग जार्ज मेडिकल कॉलेज में चल रहा है.
उधर इस हादसे पर कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने ट्विट करके कई सवाल पूछा है. उन्होंने लिखा है, बलात्कार पीड़िता के साथ हादसा चौंकाने वाला है. इस केस में चल रही सीबीआई जांच कहां तक पहुंची है? आरोपी विधायक अब तक बीजेपी में क्यों है?
वहीं उत्तर प्रदेश पुलिस महानिदेशक ओपी सिंह ने मीडिया से कहा है, "हम इस मामले की निष्पक्ष जांच कर रहे हैं. प्राथमिक जांच से लग रहा है कि यह ओवरस्पीड के चलते हुआ हादसा है. ट्रक चालक और मालिक दोनों को गिरफ़्तार किया जा चुका है. अगर परिवार चाहेगा तो हम मामले की जांच सीबीआई को सौंप सकते हैं."
उन्नाव पुलिस के मुताबिक़ ये 'हादसा' रायबरेली के गुरबख़्शगंज थाना क्षेत्र में हुआ है.
उन्नाव के पुलिस अधीक्षक माधवेंद्र प्रसाद वर्मा ने बीबीसी को बताया, "उन्नाव रेप मामले की पीड़िता समेत उनके दो रिश्तेदार और एक वकील एक कार में जा रहे थे. इस कार की एक ट्रक के साथ रायबरेली के गुरबख़्शगंज थाना क्षेत्र में दुर्घटनाग्रस्त होने की ख़बर है."
उन्होंने बताया, "हादसे में दो महिलाओं की मौत हुई है. एक पीड़िता की चाची हैं और एक चाची की बहन हैं. पीड़िता और वकील की हालत गंभीर है और उनका लखनऊ ट्रॉमा सेंटर में इलाज चल रहा है. उन्नाव पुलिस पीड़िता की मां को लेकर लखनऊ पहुंच रही है."
गुरबख्शगंज थाने के एसएचओ राकेश सिंह ने बताया कि ट्रक ड्राइवर मौके से फरार हो गया था जिसे बाद में हिरासत में ले लिया गया. उससे पूछताछ की जा रही है.
रायबरेली से स्थानीय पत्रकार अनुभव स्वरूप यादव के मुताबिक़, जिस ट्रक से पीड़िता की कार की टक्कर हुई, उस ट्रक की नंबर प्लेट से भी छेड़छाड़ की गई है.
जब इस बारे में रायबरेली पुलिस अधीक्षक सुनील सिंह से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि इसकी फॉरेन्सिक जांच कराई जा रही है और जैसा पीड़ित परिवार चाहेगा, वैसे एफ़आईआर दर्ज करके कार्रवाई की जाएगी.
भाजपा विधायक पर है रेप का आरोप
माधवेंद्र प्रसाद वर्मा के मुताबिक़ ये 'हादसा' रायबरेली में हुआ है और रायबरेली पुलिस ने ही घायलों को लखनऊ पहुंचाया है.
हालांकि रायबरेली पुलिस ने इस विषय में कोई जानकारी नहीं दी है.
उन्नाव के बांगरमऊ से विधायक और भाजपा के नेता कुलदीप सिंह सेंगर इस कथित रेप कांड में फ़िलहाल जेल में हैं.
कुलदीप सेंगर पर उनके गाँव माखी में घर के पास ही रहने वाली जिस नाबालिग़ लड़की ने बलात्कार का आरोप लगाया है आज वही युवती 'हादसे' में घायल हुई है.
सीबीआई इस कथित रेप कांड की जांच कर रही है. बीते साल अप्रैल में भाजपा विधायक कुलदीप सिंह सेंगर को गिरफ़्तार किया गया था.
बीते साल जब इस मामले को लेकर राजनीति तेज़ हुई थी तब उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा था कि किसी भी दोषी को बख़्शा नहीं जाएगा.
इस मामले में एक विवाद तब भी हुआ था जब जून 2019 में भाजपा सांसद साक्षी महाराज ने सीतापुर के ज़िला जेल में कुलदीप सेंगर से मुलाक़ात की थी.
मुलाक़ात के बाद मीडिया से मुख़ातिब साक्षी महराज ने कहा था, "हमारे यहां के बहुत ही यशस्वी और लोकप्रिय विधायक कुलदीप सेंगर जी काफ़ी दिन से यहां हैं. चुनाव के बाद उन्हें धन्यवाद देना उचित समझा तो मिलने आ गया."
क्या है मामला
कुलदीप सेंगर पर एक नाब़ालिग लड़की के साथ कथित तौर पर जून 2017 में बलात्कार करने का आरोप है.
पीड़ित नाबालिग लड़की ने आरोप लगाया था कि विधायक कुलदीप सेंगर ने अपने घर पर उस वक़्त उसके साथ बलात्कार किया था जब वो अपने एक रिश्तेदार के साथ उनके घर पर नौकरी मांगने गई थी.
इस मामले में उस वक़्त पीड़ित लड़की की एफ़आईआर पुलिस ने नहीं लिखी थी जिसके बाद लड़की के परिवार वालों ने कोर्ट का सहारा लिया.
उनका आरोप है कि विधायक और उनके साथी पुलिस में शिक़ायत नहीं करने का दबाव बनाते रहे हैं और इसी क्रम में विधायक के भाई ने तीन अप्रैल को उनके पिता से मारपीट भी की. इसके बाद हिरासत में लड़की के पिता की मौत हो गई.
लड़की के पिता का उनकी मृत्यु से पहले का एक वीडियो वायरल हुआ था जिसमें उन्होंने आरोप लगाया था विधायक के भाई और कुछ अन्य लोगों ने पुलिस की मौजूदगी में उन्हें मारा-पीटा था.
पुलिस की इसी कथित निष्क्रियता और विधायक की कथित दबंगई से त्रस्त होकर पीड़ित लड़की ने सीएम आवास के बाहर मिट्टी का तेल डालकर आत्मदाह करने का प्रयास किया, इस घटना के बाद ये मामला सुर्खियों में आ गया.
कुलदीप सेंगर के ख़िलाफ़ उन्नाव के माखी थाने में बलात्कार और पॉक्सो ऐक्ट के तहत केस दर्ज किया गया था.
प्रशासन ने इस मामले की जांच सीबीआई से कराने के आदेश दिए थे और फिर सीबीआई ने ही कुलदीप सेंगर को गिरफ़्तार किया था. इस मामले में हो रही देर के चलते इलाहाबाद हाईकोर्ट ने भी हस्तक्षेप किया था.
बीबीसी हिंदी से साभार
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