इसे विडंबना ही कहा जायेगा के एक विकलांग गरीब वैकति, KO INDRA आवास सरकार ने नहीं दिया क्योंके उसके एक रिश्तेदार के दोस्त ने सुचना अधिकार अधिनियम २००५ के तहत सुचना का मांग किया था, जबकि वह वैक्ति विकलांग , बेघर , बी पी एल सूचि में उसका नाम दर्ज था,स्मार्ट कार्ड भी बना हुवा है, ये उस राज की घटना है दोस्तों जहाँ के मुख्मंत्री अपने राज को भारस्चार की लराई में देश को अगुवा बनाने का खाब रात दिन देख रहे हैं ,ऐसे में बिहार भारस्ताचार चार के विरुद्ध अगुवा तो दूर की बात है पिचलगुवा बनने के लायक भी नहीं रहेगा, मामला पुरबी चंपारण के कल्यानपुर ब्लाक के मनिच्प्रा बहुआरा गांवो से जुरा हुवा है ,नाम मो...